हरियाणा नारकोट्क्सि कंट्रोल ब्यूरो के महानिदेशक ओ.पी. सिंह की ओर से नशे के खिलाफ शुरू किए गए बकेट चैलेंज अभियान के सार्थक परिणाम सामने आ रहे हैं। इस विशेष अभियान के तहत वे हरियाणवी गायकों, प्रसिद्ध खिलाडिय़ों व अन्य हस्तियों को नशे के खिलाफ चलाई जा रही मुहिम के लिए खास तरह की चुनौती देते हैं। इस चुनौती को हरियाणावी गायक मासूम शर्मा भी स्वीकार कर चुके हैं। प्रसिद्ध अभिनेता यशपाल शर्मा, एशियन गेम पदक विजेता शूटर रिधम सांगवान सहित अनेक हस्तियां भी इस अभियान का हिस्सा बन चुकी हैं। विशेष बात यह है कि बकेट चैलेंज से संबंधित वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट की जाती हैं और अब यह वीडियो सोशल मीडिया पर जबरदस्त तरीके से वायरल हो चुका है। महज 10 दिनों में इस अभियान ने 2.7 मिलियन व्यूज पार कर लिए हैं, जिससे यह भारत में सार्वजनिक स्वास्थ्य संचार का एक नया मॉडल बन गया है।
गौरतलब है कि हरियाणा राज्य नारकोट्क्सि कंट्रोल ब्यूरो नशे पर अंकुश लगाने के लिए लगातार तस्करों के खिलाफ अभियान छेड़े हुए है। पिछले कुछ समय में नशा तस्करों को गिरफ्तार करते हुए भारी मात्रा में नशीले पदार्थ बरामद किए गए हैं तो नशा तस्करों की आर्थिक कमर तोड़ते हुए उनकी ओर से की गई अवैध कमाई पर भी शिकंजा कसा जा रहा है। इसी कड़ी में कुछ समय पहले ब्यूरो के महानिदेशक ओ.पी. सिंह ने बकेट चैलेंज नाम से एक खास अभियान की शुरूआत की। इस अभियान को और व्यापक बनाने के लिए ओ.पी. सिंह ने बॉलीवुड अभिनेता राजकुमार राव, ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता नीरज चोपड़ा और प्रसिद्ध मुक्केबाज विजेंद्र सिंह को चुनौती दी है, ताकि वे अपने लाखों प्रशंसकों को नशा मुक्त जीवन का संकल्प लेने के लिए प्रेरित कर सकें।
नशे के खिलाफ है एक प्रतीकात्मक कदम
दरअसल बकेट चैलेंज सिर्फ एक सोशल मीडिया ट्रेंड नहीं है बल्कि यह गहरी और प्रभावशाली सोच पर आधारित एक संदेश है। इसमें प्रतिभागियों को कीचड़ भरे पानी से भरी एक बाल्टी लेनी होती है, जो नशे के जीवन पर पडऩे वाले बुरे प्रभावों का प्रतीक है। इसके बाद वे इस गंदे पानी को बाहर फैंकते हैं, जो नशे को जीवन से निकालने और एक स्वस्थ भविष्य की ओर बढऩे की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। यह दृश्यात्मक और क्रियात्मक तरीका नशे के खिलाफ संदेश को अधिक प्रभावशाली बनाता है, जिससे यह केवल आंकड़ों और चेतावनियों तक सीमित न रहकर लोगों की सोच में गहराई तक उतरता है और उन्हें नशा त्यागने की प्रेरणा देता है।
यह है बकेट चैलेंज अभियान
गौरतलब है कि बकट चैलेंज को लेना बेहद आसान है, और इसकी भागीदारी आधारित प्रकृति ही इसकी लोकप्रियता का सबसे बड़ा कारण है। एक बाल्टी में कीचड़ भरा पानी भरें, जो नशे के दुष्प्रभावों का प्रतीक है। इस गंदे पानी को फैंकने का वीडियो बनाएं, जो नशे को छोडऩे और स्वच्छ जीवन अपनाने के संकल्प को दर्शाता है। साथ ही इसमें नशा मुक्त जीवन जीने की शपथ लेनी होती है तो दूसरों को भी इसके लिए प्रेरित करना होता है। इसके लिए तीन लोगों का चयन करना होता है, जिसमें परिवार के सदस्य, सहकर्मी या आपका कोई मित्र भी हो सकता है। इसके बाद वीडियो को सोशल मीडिया पर पोस्ट किया जाता है। दूसरों को भी अभियान का हिस्सा बनने के लिए प्रेरित करना होता है। इस अनोखे प्रारूप ने व्यक्तिगत संकल्प को एक सामाजिक आंदोलन में बदल दिया है, जहां हजारों लोग इसे अपना रहे हैं और दूसरों को भी इसके लिए प्रेरित कर रहे हैं। इस अभियान को और अधिक प्रभावशाली बनाने के लिए ओ.पी. सिंह ने तीन प्रमुख भारतीय हस्तियों को बकेट चैलेंज स्वीकार करने के लिए आमंत्रित किया है। बॉलीवुड अभिनेता राजकुमार राव, ओलम्पिक स्वर्ण पदक विजेता नीरज चोपड़ा एवं मुक्केबाज विजेंद्र सिंह को चुनौती दी गई है। इन प्रसिद्ध हस्तियों की भागीदारी से यह अभियान कई गुणा तेजी से फैलेगा, क्योंकि इनके लाखों प्रशंसक इस चैलेंज को अपनाने के लिए प्रेरित होंगे।
अभियान को मिल रही है सार्थक सफलता:ओ.पी. सिंह
गौरतलब है कि महज 10 दिनों में 2.7 मिलियन व्यूज पार कर चुका बकेट चैलेंज अब तक के सबसे तेज़ी से बढऩे वाले नशा विरोधी अभियानों में से एक बन गया है। अगला लक्ष्य 10 मिलियन व्यूज का है, जिसे अंतरराष्ट्रीय नशा निषेध दिवस से पहले पूरा करने की योजना बनाई गई है। पुलिस महानिदेशक ओ.पी. की मानें तो अब यह अभियान हरियाणा से निकलकर पूरे देश में फैल रहा है। सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर्स, छात्र, प्रोफेशनल्स और पुलिस अधिकारी भी इसमें बढ़-चढकऱ हिस्सा ले रहे हैं, जिससे यह एक राष्ट्रीय आंदोलन बनता जा रहा है। ओ.पी. सिंह ने जनता से इस अभियान में सक्रिय रूप से भाग लेने की अपील की है। उन्होंने ज़ोर देते हुए कहा कि ‘नशा मुक्त जीवन ही सफल और सार्थक जीवन है। आइए, मिलकर अपने और आने वाली पीढिय़ों के लिए इसे वास्तविकता बनाएं।’ उनके अनुसार इतिहास में ऐसे कई अभियान हुए हैं, जिन्होंने सामाजिक बदलाव लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। बकेट चैलेंज भी एक ऐसी ही क्रांतिकारी पहल साबित हो रही है, जो समाज को नशे के खिलाफ एकजुट कर रही है। उन्होंने बताया कि हरियाणा पुलिस पहले भी कड़े कानूनों, जागरूकता अभियानों और पुनर्वास कार्यक्रमों के माध्यम से नशे के खिलाफ लड़ाई लड़ रही थी। लेकिन बकेट चैलेंज ने इस लड़ाई में एक डिजिटल और सामाजिक आयाम जोड़ दिया है, जिससे यह संदेश युवा पीढ़ी तक भी आसानी से पहुंच रहा है। अब जिम्मेदारी हम सबकी है। इस अभियान को आगे बढ़ाएं, शपथ लें, दूसरों को प्रेरित करें और नशा मुक्त समाज बनाने में अपनी भूमिका निभाएं।
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